दुर्ग । रिसाली निगम के आयुक्त आशीष देवांगन ने 2 फरवरी को व्यापारियों की बैठक ली और प्रतिबंधित प्लास्टिक की थैली का उपयोग नही करने कहा। इस पर उपस्थित सभी व्यापारियों ने प्रतिबंधित पॉलीथिन (कैरीबैग) से सामान नहीं देने का संकल्प लिया। आयुक्त ने उनको बताया कि प्रतिबंधित प्लास्टिक का उपयोग करने पर 200 रूपये लेकर 5 हजार रूपये तक जुर्माना लगेगा। बैठक में निगम आयुक्त ने सब्जी विक्रेताओं से कहा कि वे साग भाजी के अवशेष को फेंकने के बजाए वे खाद बनाये। आयुक्त आशीष देवांगन की इस पहल को फुटकर व्यापारियों ने न केवल सराहा बल्कि अमल करने का आश्वासन भी दिया। दरअसल निगम आयुक्त प्रतिबंधित पॉलीथिन के उपयोग पर रोक लगाने संबंधी चर्चा करने व्यापारियों को कार्यालय बुलाया था।
आयुक्त ने कहा साप्ताहिक बाजार की सफाई निगम कर्मी देर रात तक करते है। वहीं नियमित सब्जी बाजार की सफाई दो समय किया जा रहा है। इसके बाद भी साग भाझी का कचरा नजर आता है। इसकी वजह एक है पसरा लगाकर सब्जी बेचने वाले का समय निश्चित नहीं रहता। उन्होंने सलाह दी कि छत्तीसगढ़ सब्जी मार्केट में वे अस्थाई खाद बनाने टैंक बनवा देते है। जहां प्रत्येक सब्जी विक्रेता दुकान बंद करते समय साग भाझी के अवशेष को टैंक में डाल दे। धीरे-धीरे कचरा खाद में परिवर्तित हो जाएगा। इस पहल को छत्तीसगढ़ सब्जीमंडी के लोगों ने सरहाना की और रिसाली को कचरा मुक्त करने का संकल्प लिया।
इस बैठक में दलजीत सिंह पामा, शम्भू चौहान, राकेश त्रिपाठी, डॉ. आर के शर्मा, जावेद कुरैशी, महेश चंद्राकर, विपिन सिंह, मनिद्रपाल सिंह के अलावा सहायक अभियंता आर के जैन, उपअभियंता नितीन अमन साहू, जनस्वास्थ्य विभाग प्रभारी जगरनाथ कुशवाहा, राजस्व विभाग के संजय वर्मा व प्रभारी स्वास्थ्य निरीक्षक बृजेन्द्र परिहार आदि उपस्थित थे।
हर दुकान में रखे थैला
आयुक्त ने कहा कि प्रतिबंधित कैरीबैग पर पूर्ण रोक लगाने व्यापारी अहम भूमिका निभा सकते है। उन्होंने कहा कि दुकानों में बिग बाजार की तर्ज पर थैला रखे, ग्राहकों को थैला नहीं लाने पर उन्हें पैसा लेकर थैला उपलब्ध कराए। आयुक्त ने कहा कि खासकर फुटकर व्यापारी को नशीहत दी कि इस आदेश का वे सख्ती से पालन करे।
दुकानों के बाहर न फेके कचरा
व्यापारियों से चर्चा करते आयुक्त आशीष ने कहा कि कई दुकानदार दुकान बंद करते समय कचरा सड़क पर फेक देते है। कचरा नष्ट नहीं होता। हवा और मवेशी एक स्थान से दूसरे स्थान ले जाते है। बाद में यही कचरा शहर की स्वच्छता में दाग लगाता है। आयुक्त ने कहा कि गीला व सूखा कचरा को अलग-अलग कर कचरा कलेक्शन करने वालों को दे।
200 से 5000 तक जुर्माना
प्रतिबंधित पॉलीथिन के उपयोग करते पाए जाने पर नगर पालिक निगम जुर्माना वसूल करेगा। आयुक्त ने कहा जिसके हाथ या दुकान में पॉलीथिन मिलेगा उससे जुर्माना वसूल किया जाएगा। आयुक्त ने जुर्माना राशि दो सौ से लेकर पांच हजार रूपए तक होना बताया है।