महानदी व केलो जल विवाद को लेकर ट्रिब्यूनल की टीम जांच शुरू…
सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर केंद्र सरकार ने एक महानदी जल विवाद सुलझाने के लिए ट्रिब्यूनल गठित की गई है। ट्रिब्यूनल का कार्यकाल समाप्त होने वाला है। इससे पहले ही ट्रिब्यूनल ने दोनों राज्यों में महानदी बेसिन क्षेत्र का निरीक्षण करने का शेड्यूल तय किया था।
रविवार को बल्लार रिजर्वायर, कसडोल, शिवरीनारायण बैराज, हसदेव नदी पर बने तालदेवरी एनीकट का निरीक्षण किया है। बिलासपुर में ठहराव के बाद टीम ने सोमवार को शिवनाथ और हसदेव नदी के बेसिन में अरपा भैंसाझर प्रोजेक्ट, हसदेव बांगो परियोजना, दर्री बैराज, कुदरी बैराज का जायजा लिया है। मंगलवार 2 मई को टीम कोरबा से निकलकर सबसे पहले बसंतपुर बैराज पहुंची। जहां से मिरौनी बैराज, कलमा बैराज के बाद सूरजगढ़ पुल का निरीक्षण करने रायगढ़ पहुंचा। इसके बाद यह टीम रायगढ़ में रात्रि विश्राम के पश्चात कल 3 मई केलो डैम प्रोजेक्ट का निरीक्षण करेगी। पूरी रिपोर्ट बनाने के बाद ट्रिब्यूनल की यह टीम वापस नई दिल्ली लौट जाएगी।
ट्रिब्यूनल में चेयरमैन जस्टिस एएम खानविलकर, सदस्य जस्टिस रवि रंजन, जस्टिस इंदरमीत कौर, जस्टिस एके पाठक समेत नौ सदस्यों को आना था, लेकिन चेयरमैन रायपुर में कोविड पॉजिटिव हो गए हैं। इसलिए उन्हें वहीं होटल में क्वारंटाइन करके रखा गया है। इसलिये बाकी टीम यहां पहुंची है। इसमें छ.ग. के एडवोकेट, एक्सपर्ट और ओडिशा सरकार की टीम भी शामिल है। कई आला अधिकारी भी इस टीम के साथ हैं।