- पांच फरवरी को टावर लाईन शिफ्टिंग के दौरान हुई थी दुर्घटना, चार मजदूरों की हुई थी मौत
मर्ग डायरी अग्रिम जांच हेतु प्राप्त होने पर अवलोकन किया बिना नंबरी मर्ग कायमी सीटी कोतवाली रायगढ में किया जाकर शव का पीएम के0जी0एच0 रायगढ में किया गया है, जांच दौरान गवाहों के कथन घटनास्थल का निरीक्षण एवं संबंधित विभाग से दस्तावेज प्राप्त करने पर पाया कि मृतक गोविंद भुईयां सुरेश रविदास ईश्वरी तूरी व युगल भुइयां का मृत्यु दिनांक 05/02/22 के दोपहर 3:00 बजे करीब ग्राम सेंद्रीपाली के टिकरा में स्थित 220 केवी लाइन के टावर क्रमांक 280 से नया टावर में विद्युत तार का शिफ्टिंग करने दौरान
मैसर्स शारदा कंस्ट्रक्शन सील पारा ग्राम भटलो तहसील हाजूर जिला रीवा मध्य प्रदेश के ठेकेदार आलोक सिंह पिता जागेंद्र सिंह निवासी सिलपारा ग्राम भट्लो तहसील हाजूर जिला रीवा मध्य प्रदेश श्रीमती गायत्री सिंह पति जागेंद्र सिंह निवासी शिलपारा ग्राम भट्लो तहसील हाजूर जिला रीवा म प्र श्रीमती ज्योति सिंह पति चंद्रपाल सिंह निवासी अनंतपुर जिला रीवा मध्य प्रदेश सुपरवाइजर नावेद्र पांडे मनमोहन उर्फ यशवंत दुबे व राजीव तिवारी द्वारा उचित व पर्याप्त सुरक्षा संसाधन का व्यवस्था नहीं कर यह जानते हुए कि मजदूर संकट में आ सकते हैं, लापरवाही व उपेक्षा पूर्ण ढंग से मजदूरों से कार्य कराया जिसके कारण विद्युत टावर क्षतिग्रस्त होकर गिर गया…
चपले कनमुरा-सेंद्रीपाली के बीच 220केवी टावर लाइन शिफ्टिंग के दौरान हुए हादसे में चार मजदूरों ने जान गंवाई थी। हादसे के बाद खरसिया पुलिस ने भी अपराध दर्ज कर लिया है। ठेका कंपनी संचालक, उसकी बहन समेत छः के खिलाफ अपराध पंजीबद्ध किया गया है। आरोपियों में दो महिलाओं के नाम भी हैं।
कनमुरा सेंद्रीपाली में टावर हादसा जिले के सबसे दर्दनाक हादसों में शुमार हो गया है। परिवार का पालन-पोषण करने झारखंड से आकर रायगढ़ में मजदूरी करने वाले चार मजदूरों की जान एक ही झटके में चली गई। उससे भी ज्यादा दर्दनाक यह है कि मजदूरों को उनके हाल पर छोड़कर ठेका कंपनी शारदा कंस्ट्रक्शन के संचालक व कर्मचारी फरार हो गए। छग स्टेट पावर ट्रांसमिशन कंपनी लिमिटेड के अधिकारी भी हादसे के बाद पल्ला झाड़ते नजर आए। मेडिकल कालेज में उपचार के दौरान हुए मार्ग कि सूचना जांच उपरांत खरसिया पुलिस ने हादसे पर एफआईआर दर्ज की है।
ठेकेदार आलोक सिंह पिता जागेंद्र सिंह निवासी रीवा मप्र, गायत्री सिंह पिता जागेंद्र सिंह, ज्योति सिंह पिता चंद्रपाल सिंह, नावेंद्र पाण्डेय, मनमोहन दुबे और राजीव तिवारी के खिलाफ खरसिया थाने में धारा 304 ए, 337 और 34 के तहत अपराध दर्ज किया गया है। सभी आरोपी ठेका कंपनी शारदा कंस्ट्रक्शन रीवा से संबंधित हैं। सीएसपीटीसीएल के अधिकारियों को इसमें शामिल नहीं किया गया है। सुपरवाइजर नावेंद्र पांडे को पकड़े जाने फिर छोड़े जाने की भी चर्चा है।
लापरवाही की जिम्मेदारी …?
हाईटेंशन लाइन के टावर शिफ्टिंग का ठेका रीवा के आलोक सिंह की शारदा कंस्ट्रक्शन को मिला था। पांच फरवरी को एक टावर गिर गया। चार श्रमिकों गोविंद भुइया, सुरेश रविदास, ईश्वर तुरी और युगल भुइया निवासी हजारीबाग झारखंड की मौत हो गई। घटना के बाद ठेका कंपनी का सुपरवाइजर पकड़ा गया था बाकी सभी भाग गए। सीएसपीटीसीएल ने कार्य ठेका होने कि वजह से घटना की पूरी जिम्मेदारी ठेकेदार पर डाल दी।
विद्युत सुरक्षा विभाग दर्ज करेगा प्रकरण
घटना की जांच अब श्रम विभाग के साथ विद्युत सुरक्षा विभाग भी कर रहा है। मृतकों के परिवारों को बिना वाजिब मुआवजे के छग की सीमा से बाहर निकाल दिया गया। बवाल बढऩे की आशंका से सीएसपीटीसीएल अधिकारियों मामले को दबाने का प्रयास किया। लेकिन ठेका कंपनी गायब है। इसलिए कार्रवाई में देरी हो रही है। सीएसपीटीसीएल ने अपने कार्यों में लगे श्रमिकों के सुरक्षा बीमा की जांच ही नहीं की।