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मुख्यमंत्री की मंशानुरूप गौठानों को बनाना है स्वावलंबी-कलेक्टर भीम सिंह

रायगढ़ । कलेक्टर भीम सिंह आज कलेक्टर बंगले से वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से गोठान समूह में कार्यरत महिलाओं का हालचाल जाना एवं उनसे चर्चा की। उन्होंने कहा कि आज हम सभी संकल्प ले की गोधन योजना के सफल क्रियान्वयन के लिये हम सभी अपना पूरा प्रयास करेंगे।

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की मंशानुरूप हमें गौठानों को स्वावलंबी बनाना है। इस मौके पर प्रथम चरण के 212 गौठानों से लगभग 3 हजार महिलायें ऑनलाईन के माध्यम से जुड़ी हुई थी।
         

इस दौरान कलेक्टर सिंह ने गोठानों में चल रही एक्टिविटी, गोठानों में गोबर खरीदी, कम्पोस्ट निर्माण तथा विक्रय एवं उससे होने वाली आय के संबंध में जानकारी ली। उन्होंने महिलाओं से उनके गोठानों से किसानों द्वारा की जा रही वर्मी खाद की खरीदी के साथ गोठानों में समूहों द्वारा की जा रही अन्य गतिविधियों के संबंध में भी जानकारी ली।  
     

कलेक्टर सिंह ने समूहों से कहा कि एक माह से पुराना गोबर बाहर नहीं रखना है। समय से उसे वर्मी पिट में डालना जरूरी है। उन्होंने कहा कि गोठानों में मल्टी एक्टिविटी सेंटर बनाना है। गोठानों में शेड होना जरूरी है। उन्होंने जिन गोठानों में शेड नहीं बने है एवं गोबर बिक्री का भुगतान नहीं हुआ है, इसकी जानकारी संबंधित समूहों को अगले तीन-चार दिनों के अंदर सीईओ जनपद को देने के लिए कहा। ताकि उसका भुगतान बैंक के माध्यम से जल्द करवाया जा सके। उन्होंने सभी समूहों को अपने बैंक एकाउंट की सही जानकारी देने को कहा।

कलेक्टर सिंह ने समूहों की महिलाओं को हरा चारा भी उगाने के लिए कहा। जिससे पशुओं के लिए आहार उपलब्ध होगा और दुध का उत्पादन भी बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि समिति की आवश्यकतानुसार जो भी मांग है, उसे जिला स्तर से पंचायत के माध्यम से स्वीकृत कराया जाएगा। कुछ महिलाओं ने बैग नहीं होने से वर्मी कम्पोस्ट की पैकिंग में आ रही समस्याओं के बारे में कलेक्टर को अवगत कराया। कलेक्टर ने कहा कि जिले में बैग बनाने की मशीन एक सप्ताह में आ जायेगी। जिसकी जिम्मेदारी एक समूह को दी जायेगी। जिससे यह समस्या भी जल्द दूर हो जायेगी। कलेक्टर सिंह ने सभी गौठान समूहों की महिलाओं से कहा कि वर्मी खाद बनाने के अलावा अन्य गतिविधियों से भी जुड़ी रहे जिससे उन्हें प्रति माह अतिरिक्त आय मिलती रहे।


सीईओ जिला पंचायत डॉ. रवि मित्तल ने बताया कि रायगढ़ जिले में गोधन न्याय योजनान्तर्गत कुल 281 गौठानों में वर्तमान में गोबर क्रय किया जा रहा है। जिले में आज पर्यन्त तक कुल 16712 गोबर विक्रेताओं द्वारा 358603.75 क्विंटल गोबर विक्रय किया जा चुका है। वर्तमान में 281 सक्रिय गोठानों में कार्यरत महिला स्व-सहायता समूहों के माध्यम से 13408.49 क्विंटल वर्मी कम्पोस्ट तैयार किया गया है तथा तैयार वर्मी में से 11769.02 क्ंिवटल वर्मी कम्पोस्ट का विक्रय स्व-सहायता समूहों एवं ग्राम गौठान समिति के द्वारा किया गया है।


लोईंग महालक्ष्मी स्व-सहायता समूह की हुई तारीफ
कलेक्टर सिंह ने रायगढ़ विकासखण्ड के ग्राम-लोईंग की महालक्ष्मी स्व-सहायता समूह को लक्ष्य के अनुरूप बढिय़ा काम करने पर तारीफ  की और उन्हें बधाई दी। समूह की महिलाओं ने बताया कि अभी तक हम 113 क्विंटल खाद बेच चुके है, जिसका भुगतान भी हमें मिल चुका है। साथ ही हम सभी समूह की महिलायें यहां पर आलू, टमाटर, भिण्डी, मखना एवं अन्य हरी सब्जी भी उगाये है। जिससे विक्रय करने पर हमें 5 हजार रुपये का अतिरिक्त आय भी मिला है। महिलाओं ने मछली पालन शुरू करने की इच्छा भी जताई।


बढिय़ा खाद बनाने पर समूह होंगे जिला स्तर पर पुरस्कृत
कलेक्टर सिंह ने कहा कि खाद का प्रोडक्शन बढ़ाना है। खाद बनाने में कोई रूकावट न हो। खरीदे गोबर से समय पर खाद बनाना है, खाद निर्माण के समय खाद को गुणवत्ता का भी पूरा ध्यान रखना है। खाद की बिक्री हो जायेगी।  कलेक्टर सिंह ने कहा कि जो समूह अच्छा खाद बनायेंगे, उन्हें जिला स्तर पर पुरस्कृत किया जायेगा।


खाद का करें उचित रख-रखाव
वीडियो कान्फ्रेंसिंंग के माध्यम से समूह की कुछ महिलाओं ने खाद रखने के लिये जगह की मांग की। कलेक्टर सिंह ने कहा कि जो भी समूह खाद बना रही है, उसे वह अपने घरों में न रखे। वहां आसपास सामुदायिक भवन, स्कूल या कोई अन्य सुरक्षित जगहों पर खाद को रखें। उन्होंने कहा कि खाद रखने के लिये गोठान में व्यवस्था की जायेगी।


वीडियो कान्फ्रेंसिंग से मनरेगा, उद्यानिकी, कृषि अधिकारी सहित डीएमएम प्रवीण त्रिपाठी जुड़े रहे।

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