सुशील के दावेदारी से एकता पैनल विजयश्री की ओर…
सुशील के दावेदारी से एकता पैनल विजयश्री की ओर अग्रसर…रायगढ़-व्यापारिक संगठन के चुनाव मे इस बार नगर के प्रखर समाजसेवी परिवार से सुशील रामदास की दावेदारी ने तमाम इकाईयों का ध्यान अपनी ओर खींचा रहा है। व्यापारी एकता पैनल की ओर से चेम्बर ऑफ कामर्स के प्रदेश उपाध्यक्ष की दावेदारी कर रहे युवा, जुझारु व्यवसायी सुशील रामदास के प्रतिभागी बनने से एकता पैनल चेम्बर ऑफ कामर्स के चुनाव में ज्यादा मजबूत नजर आने लगा है।जिले से लेकर प्रदेश के नगर शहर भर में मानवीय हितों के लिए समर्पित रामदास परिवार के युवा हस्ताक्षर सुशील रामदासइससे पहले भी अंतर्राष्ट्रीय सामाजिक संस्था रोटरी क्लब से जुड़कर सामाजिक, सांझा चूल्हा,अपना घर,जैसी परंपरा शुरु कर व्यापारिक हितों मे सफल प्रयोग कर चुके हैं,जिसका लाभ नगर के मध्यमवर्गीय व्यापारियों को खूब हो रहा है।लींक से हटकर सोचने और व्यापारिक तथा सामाजिक चुनौतियों से जूझकर सफल बिजनेसमैन के तौर पर स्थापित सुशील रामदास को चुनावी जनसम्पर्क के दौरान व्यापारी वर्ग का भरपूर समर्थन मिल रहा है।रायगढ़ से लेकर प्रदेश भर के व्यापारी सुशील के व्यक्तित्व से प्रभावित होकर व्यापारी एकता पैनल के पक्ष मे एकजुट होने को अग्रसर हैं।चेम्बर ऑफ कामर्स के अध्यक्ष,उपाध्यक्ष समेत कार्यकारिणी गठन के लिए 17 मार्च को मतदान होना है। इससे पहले तमाम पैनल व्यापारियों का समर्थन हासिल करने की पुरजोर कोशिशें करते नजर आ रहे हैं जबकि “पहले इस्तेमाल करें फिर विश्वास करें” की तर्ज पर अपनी क्षमता साबित कर चुके सुशील रामदास की दावेदारी व्यापारियों का स्वस्फूर्त समर्थन हासिल कर मुकाबले मे सबसे आगे बढ़ते नज़र आ रहे है….
रायगढ़ की बात करें तो यहां करीब 720 मतदाता हैं और 04 प्रत्याशी। 04 में से तीन प्रत्याशी बिल्कुल युवा हैं, एक सुशील रामदास ही अनुभवी परिपक्व उम्र के हैं। जय व्यापार चैनल के उपाध्यक्ष पद के प्रत्याशी तरुण अग्रवाल की उम्र 27 साल है वही एकता पैनल के मंत्री पद के प्रत्याशी शक्ति अग्रवाल की उम्र भी 31 साल की है, हालांकि जय व्यापार चैनल के मंत्री पद के प्रत्याशी अमित रतेरिया 41 के हैं वहीं एकता पैनल के सुशील रामदास अग्रवाल 45 वर्ष के आस-पास के हैं।
रायगढ़ में पहली बार हो रहे इस चुनाव में सभी प्रत्याशी दमदार हैं। सबका बैकग्राउंड बहुत मजबूत भी है। तरुण अग्रवाल के दादा मातूराम अग्रवाल को तो राजनीति का धुरंधर भी कहा जाता था। जिस चुनाव में कूदे उसे जीत भी लिया। मातूराम रायगढ़ नगरपालिका के अध्यक्ष भी थे। वहीं सुशील रामदास अग्रवाल के पिता और भाई भी राजनीति से जुड़े रहे हैं। हालांकि अमित रतेरिया और शक्ति अग्रवाल की पृष्ठभूमि राजनीतिक भले न हो लेकिन दोनों युवा, सामाजिक कार्यों में बढ़चढ़कर हिस्सा लेने वाले हैं ऐसी चर्चा नगर में जोरो पर …
चैम्बर चुनाव में जीत के दावे दोनों पैनल के प्रत्याशी कर रहे हैं। सबने अपनी पूरी ताकत झोंक दी है। प्रचार के लिए होर्डिंग और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर ऑडियो वीडियो मटेरियल भी शेयर किए जा रहे हैं। यहां व्यापारियों की एक बड़ी समस्या यह है कि चैम्बर की सदस्यता बहुत व्यापारियों के पास नहीं है जिससे वे चुनाव में भाग नहीं ले सकते। चैम्बर की सदस्यता लेने के लिए रायपुर की दौड़ लगानी पड़ती है। इस चुनाव में चूंकि रायगढ़ में वोटिंग होगी इसलिए यह मुद्दा प्रदेश तक उठाये जाने की संभावना है….