खरसिया। जिले के खरसिया वन परिक्षेत्र के जंगल में अपनी मां से बिछड़े कोटरी शावक को वन विभाग की टीम ने सुरक्षित अपने पास रखा है। इस कोटरी शावक को कुछ दिनों बाद बिलासपुर के कानन पेंडारी में छोड़ा जाएगा। जानकारी के अनुसार खरसिया वन परिक्षेत्र के गुरदा बीट के रसियामुडा जंगल में तीन-चार दिन पहले लकड़ी बिनने गए ग्रामीणों को जंगल में अपनी मां से बिछड़े एक कोटरी का शावक मिला था। जिसके बाद ग्रामीण उसे अपने घर ले आए थे। इस बात की जानकारी वन विभाग के अधिकारियों को लगी।
इसके बाद उन्होंने तत्काल ग्रामीण के घर से कोटरी शावक को अपने कब्जे में ले लिया। शावक को रेंजर गोकुल प्रसाद यादव के मकान में रखकर डॉक्टरों के देख-रेख की जा रही है। कोटरी शावक अभी बहुत छोटा है इसलिए आने वाले कुछ दिनों बाद उसे बिलासपुर के कानन पेंडारी में ले जाकर छोड़े जाने की बात कही जा रही है।
इस संबंध में खरसिया रेंजर गोकुल प्रसाद यादव ने बताया कि कोटरी शावक अभी काफी छोटा है। इस स्थिति में अगर उसे अभी बिलासपुर के कानन पेंडारी भेजते हैं, तो लंबा सफर होने की वजह से उसकी हालत बिगड़ सकती है। कोटरी शावक अभी छोटा है उसकी बेहतर ढंग से देखरेख करने के लिये रखा गया है। कुछ दिनों बाद बिलासपुर के कानन पेंडारी में छोड़ दिया जाएगा।